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कांग्रेस ने गठबंधन के लिए चला दबाव और अल्टीमेटम का दांव

उत्तरप्रदेश के चुनाव का बिगुल बजने के साथ ही राजनीतिक दलों की ओर से चुनावी समीकरणों को साधने की कसरत भी तेज हो गई है। उप्र में अपनी राजनीतिक साख बचाने के लिए मैदान में उतर रही कांग्रेस ने चुनावी तारीखों के एलान के बाद मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को गठबंधन पर जल्द फैसला लेने का अल्टीमेटम दिया है। कांग्रेस अखिलेश की अगुवाई वाले सपा खेमे से तालमेल की भरसक कोशिश में जुटी है। इसीलिए पार्टी ने चुनावी कार्यक्रमों का एलान होने के बाद दबाव बढ़ाने की रणनीति के तहत कांग्रेस-सपा तालमेल को जनता की आकांक्षा बताने से भी परहेज नहीं किया। साथ ही तालमेल में पेच फंसने पर अकेले चुनाव लड़ने को तैयार रहने की ताल भी ठोकी। वहीं शीला दीक्षित ने एक चैनल पर दिए बयान में कहा कि मुख्यमंत्री पद के लिए अखिलेश उनसे बेहतर उम्मीदवार हैं।

कांग्रेस ने सपा परिवार के अंदरुनी घमासान में गठबंधन की गाड़ी छूट न जाए इसका संदेश भी अखिलेश को देने की कोशिश की। पार्टी का मानना है कि तालमेल नहीं हुआ तो कांग्रेस से ज्यादा नुकसान अखिलेश को होगा। उप्र के कांग्रेस के प्रभारी महासचिव गुलाम नबी आजाद ने कहा कि मौजूदा सियासी माहौल में सपा-कांग्रेस के गठबंधन के लिए लोगों का दबाव है। मगर आजाद ने साफ किया कि चुनावी बिगुल बजने के बाद अब समय की ज्यादा गुंजाइश नहीं है और गठबंधन पर जल्दी फैसला नहीं हुआ तो कांग्रेस अकेले 403 सीटों पर चुनाव लड़ने की तैयारी कर रही है। इसीलिए गुरुवार से प्रदेश चुनाव समिति सभी सीटों के लिए उम्मीदवारों के पैनल पर छानबीन का काम शुरू कर देगी।

Source : Matnews.in






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